Wednesday 5 August 2015

भाई

मेरे जख्म उसने देखें, तब दवाई कि याद आईं
उसकी तरक्की मैंने देखी, तब मिठाई कि याद आईं
सुबह लड़ाई करके जिसे दो बातें सुनाई थी
शाम को खामोशी सुनी, तो भाई की याद आईं
~ अनामिका